Teri Ye Bewajah Ki Berukhi Ab Seh Na Sakungi by Goonj Chand
Banjar Ho Jameen To Bhi
Naa Rukungi
Teri Khushi Ke Liye
Kaanto Par Bhi Chalungi
बंजर हो जमीं तो भी ना रुकूंगी-2
तेरी खुशी के लिए काँटों पर भी चलूँगी…
के बंजर हो जमीं तो भी ना रुकूंगी…
तेरी खुशी के लिए काँटों पर भी चलूँगी…
ओर सहने को तो सब कुछ सह लूँगी तेरी खातिर मैं -2
बस तेरी ये बेवजह की बेरुखी अब और ना सह सकूँगी मैं,
बंजर हो जमीं तो भी ना रुकूंगी…
प्यार किया था हमने जो उसी निभा रही हूँ…
प्यार किया था हमने जो उसे निभा रही हूँ मैं…
अपनी पूरी शिद्दत से इस घर को चला रही हूँ…
के प्यार किया था हमने जो उसी निभा रही हूँ…
अपनी पूरी शिद्दत से इस घर को चला रही हूँ मैं…
लोगों को लगता हैं बहुत खुश हूं मैं इस जिंदगी में -2
पर उन्हें क्या पता इस खुशी में कितने गमों को छिपा रही हूं मैं…
पर अब हद हो चुकी हैं इस दिखावे कि-2
अब और दिखावा ना कर सकूँगी…
ओर तेरी ये वेबजह की बेरुखी अब और ना सह सकूँगी…
वजह ही बता दे इस बेरुखी की या अब खत्म ही कर दे इसे -2
आ अब निकाल लें इन अंधेरों से मुझे कहीं खो ना जाऊं मैं इन में कहीं…
की वजह ही बता दें इस बेरुखी की या खत्म ही कर दे इसे,
आ निकाल लें इन अंधेरों से मुझें कही खो ना जाऊं मैं इन में कहीं…
कह दिया मैंने कहना था जो इस बार -2
अब बार 2 अपने दिल का हाल मैं बयां ना कर सकूँगी…
ओर तेरी ये बेवजह की बेरुखी अब और ना सह सकूंगी…
के बंजर हो जमीं तो भी ना रुकूंगी…
तेरी खुशी के लिए काँटों पर भी चलूँगी…
ओर सहने को तो सब कुछ सह लूँगी तेरी खातिर मैं -2
बस तेरी ये बेवजह की बेरुखी अब और ना सह सकूँगी मैं…
बंजर हो जमीं तो भी ना रुकूंगी….
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