Ab Dekh Main Tujhse Nafrat Kis Tarah Karti Hun by Goonj Chand

Ab Dekh Main Tujhse Nafrat Kis Tarah Karti Hun by Goonj Chand


Ab Dekh Main Tujhse Nafrat Kis Tarah Karti Hun by Goonj Chand


कि आज तेरी हर याद को अपनी ज़िन्दगी से दफा करती हूँ…

और अब में मोहब्बत तुझसे कुछ इस तरह करती हूँ…

कि तू सामने जाये की तुझे लगा लू गले,

अरे इससे अच्छा तो में मरने की दुआ करती हूँ…

और तू देख मैं तुझसे नफरत किस तरह करती हूँ…

 

कि तुझसे जुड़ी हर चीज़ से इस कदर किनारा कर लिया है मैंने…

कि में अब अपने ही शहर को तेरा शहर कहती हूँ…

और वो मेरा एक झुमका जो आज तक तेरी गाड़ी में है,

उसके दूसरे हिस्से को भी में आज दफ़न करती हूँ…

और तू देख मैं तुझसे नफरत किस तरह करती हूँ…

 

मेरे जज़्बातो से खेलकर भाग जाना इतना आसान नहीं…

में तेरी बेवफाई को अपनी कागज़ और कलम में कैद करती हूँ…

और जब-जब बेवफाई की बात उठेगी तेरा नाम आएगा,

में आज हर एक शायर को तेरे नाम से इत्तेला करती हूँ…

और तू देख मैं तुझसे नफरत किस तरह करती हूँ…

 

बड़ा शौक था तुझे लड़कियों की गुड बुक्स में आने का…

चल आज शायरों की महफ़िल में तुझे मशहूर करती हूँ…

और अपने ये दो कोड़ी के गुरूर को अपनी जेब में डालकर रख,

कियुँकि आज में तेरे हर एक गुरूर को चकनाचूर करती हूँ…

और तू देख मैं तुझसे नफरत किस तरह करती हूँ…

 

आज तेरी हर याद को अपने दिल से दफा करती हूँ…

और अब में मोहब्बत तुझसे कुछ इस तरह करती हूँ…




Comments

Post a Comment

Thank You for Your Comment